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Saturday, March 1, 2014

गो-तस्करों ने शिवसैनिक को मारी गोली, तनाव

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/saharanpur-11127208.html
सरसावा (सहारनपुर) : हरियाणा से तस्करी कर लाए जा रहे गोवंश को छुड़ाने के विरोध पर तस्करों ने गोलियां चला दीं। तस्करों की गोली से एक युवक घायल हो गया। युवक शिवसेना से जुड़ा है। वारदात को लेकर हिंदू संगठनों ने पुलिस के प्रति कड़ा रोष व्यक्त किया है।

Friday, February 28, 2014

गोकशी को लेकर सूजड़ू में पथराव, सात घायल

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/muzaffarnagar-11125181.html
मुजफ्फरनगर। नगर कोतवाली क्षेत्र स्थित सूजडू गांव में गोकशी को लेकर दो पक्षों में गुरुवार को भिड़ंत हो गई। इस दौरान हुए पथराव में दोनों पक्षों के सात लोग घायल हो गए। सूचना पर पहुंची पुलिस ने मौके से दो गाय और कुछ कटे हुए अवशेष बरामद किए।

Wednesday, February 26, 2014

आजमगढ़ में दो वर्ग भिड़े, तनाव

http://navbharattimes.indiatimes.com/articleshow/31005354.cms
आजमगढ़ के गंभीरपुर थाना क्षेत्र में सोमवार रात दो वर्गों के बीच हुई हिंसा और आगजनी में एक युवक की मौत हो गई और कई लोग घायल हो गए। घटना के बाद क्षेत्र में फैले तनाव के मद्देनजर मौके पर दो कंपनी पीएसी के अलावा मऊ और बलिया जिले की पुलिस मौके पर तैनात की गई है। शुरुआती जांच में स्थानीय पुलिस की लापरवाही पाए जाने पर एसएसपी एसएसपी आजमगढ़ अनन्त देव ने गंभीरपुर के थानाध्यक्ष सलीम अली सिद्दीकी को निलंबित कर दिया है।

Sunday, November 17, 2013

बीजेपी नेता का मर्डर, बवाल

http://navbharattimes.indiatimes.com/articleshow/21198316.cms
तमिलनाडु में बीजेपी के महासचिव वी. रमेश की बेरहमी से हत्या कर दी गई। यह वारदात बीती रात उनके घर के पास हुई। रमेश के शरीर पर चोटों के 17 निशान थे। हत्यारों के बारे में कुछ भी पता नहीं चल सका है। इस घटना के बाद तमिलनाडु में तनाव फैल गया है।

रोड पर नमाज पढ़ने को लेकर मेरठ में तनाव

http://navbharattimes.indiatimes.com/other-cities/meerut/tension-in-meerut-over-namaz-on-road/articleshow/21013272.cms
रोड पर नमाज पढ़ने को लेकर मेरठ में दो समुदायों के बीच बुधवार को तनाव पैदा हो गया। सूचना मिलते ही काफी संख्या में पुलिस और प्रशासनिक ऑफिसरों ने मौके पर पहुंचकर स्थिति को संभाला। पुलिस बल की मौजूदगी में लोगों ने नमाज अदा की। ऑफिसरों ने दोनों समुदायों को आश्वासन दिया है कि गुरुवार को इस मसले का हल निकाल लिया जाएगा। इसके बाद जाकर तनाव थोड़ा कम हुआ। हिंदूवादी संगठनों ने चेतावनी दी है कि सड़क पर किसी भी हालत में नमाज नहीं होने देंगे।

हिंदू मुन्नानी संगठन के नेता की हत्या से रामेश्वरम में तनाव

http://www.jagran.com/news/national-hindu-munnani-leader-murdered-in-rameswaram-10546058.html
तमिलनाडु के रामेश्वरम में हिंदू मुन्नानी संगठन के एक स्थानीय नेता की हत्या कर दी गई है। इससे शहर में तनाव पैदा हो गया है। राज्य में इस संगठन के नेता पर यह दूसरा जानलेवा हमला है।

खाड़ी की दौलत से केरल में बढ़ रहा धार्मिक उन्माद?

केरल में मुस्लिम समुदाय के लोगों की इनकम बढ़ाने में काफी हद तक खाड़ी देशों के इकनॉमिक बूम का योगदान है, लेकिन पिछले 4 दशक के दौरान बढ़ी इस ताकत के कुछ नेगेटिव पहलू भी सामने आ रहे हैं। इससे समुदाय के कुछ लोगो में रैडिकलिज़म को भी हवा मिली है।
http://getpocket.com/redirect?url=http%3A%2F%2Fnavbharattimes.indiatimes.com%2Fbusiness%2Fbusiness-news%2Fgulf-money-gives-currency-to-muslim-extremism-in-kerala%2Farticleshow%2F20889189.cms
 

Tuesday, October 1, 2013

बलियाः हिंसक झड़प मामले में 7 गिरफ्तार

http://navbharattimes.indiatimes.com/-///---7-/articleshow/20863269.cms
उत्तर प्रदेश के बलिया जिले में उभांव थाना के कुंडैल नियामतअली गांव में रविवार को दलित और मुस्लिम वर्ग के बीच हुई हिंसक झड़प के मामले में पुलिस ने सोमवार को दोनों पक्षों के सात लोगों को गिरफ्तार किया है। यह जानकारी पुलिस ने दी।

दोहरे मापदंड का प्रमाण

http://www.jagran.com/editorial/apnibaat-proof-of-double-standards-10527947.html
पिछले दिनों 'शबे बारात' के मौके पर रात को दिल्ली की सड़कों पर एक समुदाय विशेष के युवाओं ने जमकर हुड़दंग मचाया। पिछले साल भी इस मौके पर ऐसा ही अराजक माहौल था। मोटरसाइकिल पर सवार हजारों गुंडों ने कानून एवं व्यवस्था की धज्जियां उड़ा दीं। एक-एक मोटरसाइकिल पर तीन-चार गुंडे बैठे थे। किसी ने भी हेलमेट नहीं पहना था और ट्रैफिक के हर कानून का उल्लंघन करते हुए घंटों गुंडागर्दी का तांडव किया। निजी वाहनों में सफर कर रही महिलाओं के साथ बदतमीजी की गई और उन्हें अश्लील इशारे किए गए। ट्रैफिक जाम में फंसी कारों के ऊपर खड़े होकर उत्पाती नाचते रहे। पुलिस मूकदर्शक बनी रही। प्रश्न उठता है कि इन असामाजिक तत्वों के आगे प्रशासन पंगु क्यों था और इन गुंडों को दुस्साहस की प्रेरणा कहां से मिलती है?
दैनिक जागरण बधाई का पात्र है, जिसने पूरी साफगोई से मामले को विस्तार से सामने रखा। यह घटनाक्त्रम सेक्युलर व्यवस्था के दोहरे मापदंडों को रेखांकित करता है। यह केवल दिल्ली तक ही सीमित नहीं है। देश के अन्य हिस्सों, खासतौर पर पश्चिम उत्तार प्रदेश में भी ऐसी घटनाएं आम हैं। दहशतगर्द यदि मुस्लिम समुदाय से जुड़े होते हैं तो प्रशासन मौन साध लेता है। अधिकारियों को 'ऊपर' से कार्रवाई न करने का आदेश होता है। समाज की शांति भंग करने वाले जहां बेखौफ हैं, वहीं इस देश की कानून एवं व्यवस्था पर विश्वास रखने वाले आम नागरिक हुड़दंगियों के रहमोकरम पर हैं। दो साल पूर्व इसी जून के महीने में कालेधन और भ्रष्टाचार को लेकर बाबा रामदेव द्वारा छेड़े गए जन आंदोलन को दिल्ली पुलिस ने अपने लाठीबल से कुचल दिया था। भारत माता की जय बोलने वाले एक निहत्थे समूह को आधी रात पुलिसिया बर्बरता का शिकार बनाने वाली व्यवस्था ऐसे मामलों में क्यों खामोश रहती है? आज दिल्ली पुलिस की मर्दानगी कहां खो गई? मुस्लिम समुदाय के कट्टरपंथी तत्वों द्वारा हिंसा के बल पर कानून एवं व्यवस्था को हाशिये पर डालने के अनेक उदाहरण हैं। पुरानी दिल्ली स्थित सुभाष पार्क में मेट्रो रेल निगम की ओर से रेल पटरी बिछाने के लिए की जा रही खुदाई में जब एक ढांचा सामने आया तो उस पर मुस्लिम समुदाय के रहनुमाओं ने फौरन अपनी दावेदारी ठोंक दी। खुदाई में अभी केवल एक दीवार ही मिली थी और उसे मस्जिद का अवशेष घोषित कर मस्जिद खड़ी कर दी गई। यहां चल रहे अवैध निर्माण कार्य को रोकने का साहस किसी भी सरकारी एजेंसी में नहीं था। मामला जब उच्चतम न्यायालय के संज्ञान में पहुंचा तो अदालत ने वहां निर्माण कार्य पर रोक लगाने का आदेश सुनाया, किंतु इस आदेश की तामील कराने जब पुलिस विवादित स्थल पर पहुंची तो स्थानीय मुस्लिम आबादी के एक बड़े वर्ग ने पुलिस पर हल्ला बोल दिया। घंटों सड़क पर बलवाइयों का खौफ छाया रहा और आम आदमी को जानोमाल के जोखिम से दोचार होना पड़ा। अदालती आदेश की अवहेलना और सड़क पर बलवा करने की इस घटना पर सेक्युलरिस्ट खामोश रहे। क्यों? देश का कानून और सेक्युलरिस्टों की सक्त्रियता अल्पसंख्यकों से जुड़े मामलों में लकवाग्रस्त क्यों हो जाती है? अगस्त, 2012 में मुंबई के आजाद मैदान में असम दंगों के खिलाफ आयोजित विरोध प्रदर्शन का हिंसा पर उतर आना कट्टरपंथियों के बढ़े दुस्साहस का एक और प्रमाण है। स्थानीय मुस्लिम संगठन रजा अकादमी के आह्वान पर जनसभा में शामिल होने के बहाने हजारों की संख्या में एकत्रित भीड़ ने पुलिस की गाड़ियां जला डालीं, न्यूज चैनलों की ओबी वैन जलाई गई और आसपास की दुकानों को लूटपाट के बाद आग के हवाले कर दिया गया। इस दौरान पाकिस्तानी झंडे भी लहराए गए। इसके साथ ही पुणे, हैदराबाद आदि शहरों में पूर्वोत्तार के लोगों पर भी हमले किए गए। प्रश्न यह है कि एक समुदाय विशेष के कट्टरपंथी वर्ग को इस देश की कानून एवं व्यवस्था का खौफ क्यों नहीं है? अपनी हर उचित-अनुचित मांग को पूरा करने के लिए जब-तब हिंसा की प्रेरणा उसे कौन देता है?
दिल्ली के निजामुद्दीन इलाके में दिल्ली विकास प्राधिकरण की जमीन पर अवैध रूप से बनाई गई एक मस्जिद को ढहाने के लिए जब अधिकारी पहुंचे तो इसी तरह हिंसा के बल पर सुरक्षा जवानों और अधिकारियों को खदेड़ भगाया गया। दिल्ली के ही जोरबाग इलाके में अदालत के आदेश पर एक विवादित स्थल पर प्रवेश की अनुमति नहीं है, किंतु हिंसा के बल पर उसमें जबरन प्रवेश करने की जब-तब कोशिशें होती हैं। पुलिस मौन रहती है, जबकि आसपास के आम नागरिक खौफ के वातावरण में जीने को अभिशप्त हैं। क्यों? असम के दंगों के दौरान सेक्युलरिस्टों का वीभत्स चेहरा बेनकाब हुआ था। अवैध रूप से बस चुके बांग्लादेशी घुसपैठिए अब वहां के स्थानीय बोडो जनजातीय लोगों को हिंसा के बल पर मार भगाना चाहते हैं। उनकी पहचान मिटाने पर आमादा हैं, किंतु कांग्रेस दशकों से बांग्लादेशी घुसपैठियों को संरक्षण प्रदान कर रही है, जिनके वोट बैंक के बूते वह असम की सत्ता पर कुंडली मारे बैठी है।
क्या वोट बैंक की राजनीति के लिए इन अवैध घुसपैठियों को इसलिए शरणार्थी मान लेना चाहिए कि वे मुस्लिम हैं? रोहयांग म्यांमारी और बांग्लादेशी घुसपैठियों का भारत से दूर-दूर का संपर्क नहीं है, फिर भी उन्हें संरक्षण दिलाने के लिए सेक्युलर दलों का एक बड़ा तबका चिंताग्रस्त है, किंतु उन हजारों हिंदुओं के लिए कोई फिक्रमंद दिखाई नहीं देता जो मजहबी उत्पीड़न और हिंसा से खौफजदा होकर बांग्लादेश और पाकिस्तान से पलायन कर अपने वतन लौटे हैं।
भारत में यदि मुस्लिम समाज में कट्टरवादी हावी हो रहे हैं और मजहबी जुनून को हवा मिल रही है तो इसका बड़ा श्रेय सेक्युलरिस्टों को जाता है, जो वोट बैंक की राजनीति के कारण मुस्लिम कट्टरपंथ को आंख बंद कर पोषित करते हैं। यही कारण है कि सीमा पार बैठी शक्तियां स्थानीय मुस्लिम युवाओं को काफिर और जिहाद के नाम पर उकसाने में सफल हो रही हैं। सेक्युलरिस्ट अशिक्षा को इस्लामी आतंक की प्रमुख वजह बताते आए हैं, किंतु कड़वी सच्चाई यह है कि मुस्लिम समुदाय के एक बड़े वर्ग में मौजूद कट्टरपंथी मानसिकता ही वह उर्वर भूमि है जिसमें जिहाद की फसल लहलहा रही है। वस्तुत: सेक्युलरिस्टों के दोहरे मापदंड सामाजिक शांति, सौहार्द और भारत के परंपरागत बहुलतावादी समाज के लिए गंभीर खतरा हैं।
[लेखक बलबीर पुंज, भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष हैं]

पांच रुपये के सिक्के पर मां वैष्णो देवी की तस्वीर पर विवाद

http://www.jagran.com/news/national-controversies-over-issue-rs-5-denomination-coins-on-vaishno-devi-10493831.html
श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड के 25 साल पूरे होने पर जारी देवी मां की तस्वीर वाले पांच रुपये के सिक्के को लेकर विवाद हो पैदा गया है। रिजर्व बैंक से जारी इन सिक्कों को लेकर मुस्लिम संगठनों ने विरोध जताया है।

आगरा: दो समुदायों में भिड़ंत, आगजनी

http://www.jagran.com/news/national-clash-in-agra-10486811.html
अति संवेदनशील इलाका काजीपाड़ा में सोमवार को युवकों के खेल के झगड़े में सुलग गया। आमने-सामने आए दो समुदायों के बीच जमकर पथराव और मारपीट हुई। इसके बाद उपद्रवियों ने आगजनी शुरू कर दी। पथराव से फैली दहशत के कारण बाजार एकाएक बंद हो गया। हालात काबू में करने के लिए पुलिस ने आंसू गैस के गोले दागे और हवाई फायरिंग की। पथराव में कई लोग घायल भी हुए हैं।

पुलिसकर्मियों को कुचलने का प्रयास

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/varanasi-city-10477985.html
वध के लिए ले जाए जाने वाले मवेशियों की धर पकड़ के दौरान शुक्रवार को डाफी टोल टैक्स के पास पशु तस्करों ने पुलिसकर्मियों को कुचलने का प्रयास किया। इस दौरान लंका पुलिस ने दो ट्रकों को पकड़ लिया जिस पर 37 मवेशी लदे थे। थाना प्रमुख देव प्रकाश यादव ने बताया कि इस बाबत कौशांबी व फतेहपुर के मो. रेहान, चांद बाबू, मो. जाकिर व बचानी गिरफ्तार किए गए। मवेशी वध के लिए कानपुर व इटावा ले जाए जा रहे थे।

Saturday, September 21, 2013

युवक की हत्या से दो समुदायों में तनाव

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/agra-city-10717480.html

मुजफ्फर नगर दंगे की तपिश दूसरी जगहों पर भी चिंगारी उठा रही है। बुधवार को आगरा का कस्बा एत्मादपुर झुलसने से बच गया। वहां मंगलवार की मध्य रात्रि युवक की गोली मारकर हत्या कर दी गई। हत्यारों ने लाश को रेलवे ट्रैक पर फेंक दिया। हत्यारोपी दूसरे समुदाय से होने के कारण बुधवार की सुबह इलाके में जबरदस्त तनाव व्याप्त हो गया। हत्यारोपियों की शीघ्र गिरफ्तारी का आश्वासन देकर अधिकारियों ने ग्रामीणों को शांत किया। सतर्कता के मद्देनजर गांव में फोर्स तैनात किया गया है।
 

अलीगढ़ में तनाव

http://www.bhaskar.com/article/MAT-RAJ-AJM-c-18-427791-NOR.html
अलीगढ़ के अतरौली इलाके में बाइक सवार तीन युवकों ने कॉलेज जा रही एक लड़की से छेडख़ानी की। लड़की के शोर मचाने पर आसपास के लोगों ने एक युवक को पकड़ लिया लेकिन दो युवक भाग गए। इस घटना के बाद वहां स्थानीय संगठनों के कुछ लोग पहुंच गए। इलाके में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है।

दुकान में आग लगाई, तनाव

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/bijnor-10725722.html
बिजनौर : नगर के निकट स्थित गांव रामपुर बकली में एक दुकान में आग लगा दी गई। इससे हजारों रुपये का नुकसान हो गया। मामला दो सम्प्रदाय का होने के कारण गांव में तनाव हो गया। पुलिस ने दुकानदार और आरोपी का शांतिभंग में चालान कर दिया। साथ ही गांव में पुलिस बल को तैनात कर दिया गया है।

धार्मिक स्थल में युवकों के घुसने पर तनाव

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/agra-city-10726175.html

बल्केश्वर में महादेव मंदिर रोड पर कृष्णानंद महाराज का आश्रम है। यहां फतेहाबाद रोड निवासी लाल सिंह दो साल से सेवादार हैं। उन्होंने बताया कि शनिवार रात करीब आठ बजे बस्ती के दूसरे समुदाय के पांच-छह युवक आश्रम में सीढि़यों से कूदकर आ गए और कृष्णानंद महाराज से आश्रम की चाभी मांगने लगे। लाल सिंह ने बताया कि इसका उन्होंने विरोध किया, तो युवकों ने उनके साथ मारपीट कर दी। शोर मचाने पर सामने की बस्ती के लोग आश्रम में पहुंच गए। दूसरे पक्ष के लोग भी हाथों में सरिया लेकर आ गए, लेकिन इधर के लोगों की संख्या अधिक देखकर वापस हो गए। बवाल की आशंका के चलते पुलिस फोर्स के साथ सीओ हरीपर्वत समीर सौरभ और इंस्पेक्टर न्यू आगरा नरेशचंद्र शर्मा पहुंच गए। दोनों पक्षों को समझाकर शांत कराया।
 

मांस की दुकानें हटाने को लेकर तनाव, पांच गिरफ्तार

http://www.prabhatkhabar.com/news/45546-Rajasthan-Mathura-Gate-Police-Station-Bhandara-during-the-protests-tensions-between-the-two-communities.html
राजस्थान के भरतपुर शहर के मथुरा गेट थाना इलाके में बुध की हाट इलाके में कल रात भंडारे के
दौरान हुए पथराव से दो समुदाय के बीच तनाव पैदा हो गयापुलिस सूत्रों ने बताया कि बुध की हाट स्थित
धार्मिक स्थल के आसपास मांस की दुकानों को लेकर एक समुदाय का दूसरे से कुछ दिनों से विवाद चल रहा था.
तनाव कल उस समय पैदा हो गया जब एक समुदाय के लोगों ने धार्मिक स्थल पर चल रहे भंडारे के दौरान
पत्थर फेंके, जिससे चार लोगों को चोट लगी.

विवेकानंद की तस्वीर लगी टीशर्ट पहनने पर मारपीट, तनाव

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/bulandshahr-10733186.html

कस्बे के मोहल्ला अजीजाबाद में मंगलवार को कुछ सिरफिरों की हरकत से माहौल गरमा गया। सिरफिरों ने मोहल्ले के एक युवक द्वारा विवेकानंद की तस्वीर छपी टीशर्ट पहनने पर आपत्ति जाहिर की थी, जिसके विरोध में एक समुदाय के लोगों ने थाना घेर लिया। बाद में भारी संख्या में पुलिस बल मौके पर पहुंचा और हंगामे पर काबू किया। तनाव को देखते हुए पुलिस ने फ्लैग मार्च किया। फिलहाल क्षेत्र में शांति है।

सब्जी बेचने गए युवक की हत्या, सांप्रदायिक तनाव

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/muzaffarnagar-10726176.html

खतौली (मुजफ्फरनगर)। थाना रतनपुरी क्षेत्र के गांव डबल व किताश के बीच शनिवार दोपहर सब्जी बेचने गए एक युवक की धारदार हथियार से हत्या कर दी गई, जबकि उसका चचेरा भाई और एक बच्चे ने भागकर जान बचाई। इस वारदात के बाद क्षेत्र में सांप्रदायिक तनाव ...

दो समुदायों में मारपीट से तनाव

http://www.jagran.com/uttar-pradesh/pratapgarh-10730452.html

मदाफरपुर निवासी दिनेश टेंपो लेकर कोहड़ौर रोड पर जा रहा था। तभी पहुंचे अताउल्ला निवासी खजुरी सुल्तानपुर से पैसे के लेन देन को लेकर मारपीट हो गई। मामला दो समुदायों का होने के कारण लोग तूल देने लगा। इससे तनाव दिखने लगा। सूचना पर पहुंचे कोहड़ौर एसओ मनोज कौशिक ने दोनों को हिरासत में लेकर मामला शांत कराया। बाद में दोनों का शांति भंग की आशंका में चालान कर दिया गया।